श्री श्री रविशंकर से मुलाक़ात के दौरान मुजफ्फर वानी. |
TIMES OF INDIA ने एनकाउन्टर में मारे गए हिजबुल कमांडर बुरहान वानी के पिता मुजफ्फर वानी से बातचीत की. बुरहान के पिता ने बताया कि उनका बेटा 10 साल की उम्र में भारतीय सेना ज्वाइन करने का ख्वाब देखता था. उन्होंने बुरहान के बारे में कई और बातें भी बताई. यूएन में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने कश्मीर और बुरहान को लेकर जो कुछ कहा उससे बुरहान के पिता पूरी तरह सहमत हैं. बुरहान ने इस एक्सक्लूसिव इंटरव्यू में श्री श्री रविशंकर से हुई मुलाक़ात पर भी सवालों के जवाब दिए. खबरची पूरे इंटरव्यू के कुछ चुनिंदा सवालों को अपने पाठकों के सामने रख रहा है. टाइम्स के लिए रोहन दुआ ने ये इंटरव्यू किया है. अंग्रेजी में पूरा इंटरव्यू आप यहां टाइम्स ऑफ इंडिया के लिंक पर क्लिक कर पढ़ सकते हैं.
श्री श्री रविशंकर से मुलाक़ात में क्या बात हुई थी ?
मुजफ्फर वानी ने बताया किसी ने यह मीटिंग फिक्स नहीं की थी. मैं एक हॉस्पिटल के विजिट पर था. मैंने सोचा क्यों न आश्रम में रुका जाए. मैंने सालों पहले श्री श्री को टीवी पर देखा था. जाकिर नाइक भी उनसे मिल चुके हैं. फिर मैं क्यों नहीं मिल (श्री श्री से) सकता. हमने कश्मीर के बारे में बात की. उन्होंने मुझसे सोल्यूशन पूछा. मैंने उन्हें कहा कि भारतीय नेताओं को पाकिस्तान से बात करनी चाहिए. उन्होंने मुझसे इस बारे में भी पूछा कि कैसे बुरहान ने हमें (घरवालों को) छोड़ दिया. वह बोले यह अल्लाह की मर्जी थी.
मारे गए हिजबुल कमांडर कमांडर बुरहान वानी के पिता मुजफ्फर वानी. |
कभी भारत के लिए क्रिकेट खेलना चाहता था मारा गया हिजबुल कमांडर
मुजफ्फर वानी ने कहा 5 अक्टूबर 2010, को बुरहान ने घर छोड़ा. उसने अपनी मां से कहा कि वह अपने किसी दोस्त से मिलने जा रहा है. लेकिन वह शाम को लौट कर नहीं आया. बाद में हमें पता चला कि वह आतंकियों से जुड़ गया है. एनकाउंटर से करीब दो माह पहले मैंने उसे समझाने का बहुत प्रयास किया. वह 1994 में पैदा हुआ था. मैंने उसे बताया कि वह भारी अस्थिरता के माहौल में पैदा हुआ है. स्वाभाविक है कि वह उस दर्द में पडा. जब वह 10 साल का था, उसने एक इंडियन आर्मी अफसर से कहा था कि वह इंडियन आर्मी ज्वाइन करना चाहता है. उसने यह तब कहा था जब गांव में सेना एक तलाशी अभियान पर थी. बुरहान का एक वीडियो साबित करता है कि वह क्रिकेट को बहुत पसंद करता था. वह भारत के लिए खेलना चाहता था, पाकिस्तान के लिए नहीं.
एनकाउंटर में मारा गया हिजबुल कमांडर बुरहान वानी. |
एक दिन भारत बुरहान को फ्रीडम फाइटर मानेगा
एक सवाल के जवाब में मुजफ्फरवानी ने कहा- जब भगत सिंह अंग्रेजों के खिलाफ लड़ रहे थे तब उन्हें आतंकवादी कहा गया. लेकिन भारतीयों ने उन्हें फ्रीडम फाइटर के रूप में माना.जब कश्मीर की समस्या ख़त्म हो जाएगी भारत महसूस करेगा कि बुरहान एक फ्रीडम फाइटर था. मझे वो सारी बातें पसंद आई जो नवाज शरीफ ने (यूएन) में कहें. बुरहान की मौत कश्मीर की आजादी की लड़ाई के लिए एक नई रोशनी लेकर आय है.
बुरहान वानी के पिता से इससे ज्यादा और उम्मीद भी क्या की जा सकती है. मामला जब कश्मीर की आजादी का है तो भला इसमें पाकिस्तान का क्या काम? बातचीत से रोका किसने है? और ये बताइए गोली चला कौन रहा है? पाकिस्तान के टुकड़ों पर पलने वाले आतंकी ही न.
ReplyDelete